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भोपाल संभाग में अब तक 3125 आंगनवाड़ी भवनों का हुआ निर्माण

बालिकाओं को प्रत्येक सुविधाएं एक ही छत के नीचे उपलब्ध होगी------


बालिकाओं को सक्षम, शिक्षित और अनुपूरक पोषण की प्राप्ति के लिए संभाग के सभी जिलों में 3125 आगनवाड़ी भवनों का निर्माण किया गया है।
    भोपाल संभाग के अंतर्गत बालिकाओं के शैक्षणिक गतिविधियाँ और अनुपूरक पोषण के जरिए उनके विकास की भूमिका तैयार की जा रही है। जिला भोपाल में 1019 स्वीकृत आगनवाड़ी भवनों में से 896 भवन तैयार किये जा चुके हैं, वहीं 79 निर्माणाधीन हैं। रायसेन जिले में 899 स्वीकृत भवनों में से 519 भवन तैयार किये गये हैं वहीं 171 निर्माणाधीन हैं। राजगढ़ जिले में 595 स्वीकृत भवनों में से 200 भवन तैयार किये जा चुके हैं, वहीं 301 निर्माणाधीन हैं। सीहोर जिले में 980 स्वीकृत भवनों में से 806 भवन तैयार किये जा चुके हैं, वहीं 129 निर्माणाधीन हैं तथा विदिशा जिले में 887 स्वीकृत भवनों में से 704 भवन तैयार किये जा चुके हैं, वहीं 127 निर्माणाधीन हैं। भोपाल संभाग में 448 आगनवाड़ी भवनों का निर्माण शीघ्र ही प्रारंभ किया जाएगा। 
    संयुक्त संचालक महिला एवं बाल विकास, भोपाल सुश्री नकी जहां ने बताया कि भोपाल संभाग में 4380 आगनवाड़ी भवनों में से अब तक 3125 आगनवाड़ी भवन का निर्माण कराया गया हैं। साथ ही 807 भवन निर्माणाधीन हैं। आगनवाड़ी केन्द्रों का भौतिक सत्यापन और औचक निरीक्षण की कार्यवाही समस्त विभागीय अधिकारियों द्वारा सुनिश्चित कराई जा रही है। जिससे आगनवाड़ी केन्द्रों की वस्तुस्थिति की अदयतन स्थिति का पता लगाया जा सके। 
    भोपाल संभाग में 9972 आगनवाड़ी केन्द्र निर्धारित है जिनमें से 3339 आगनवाड़ी केन्द्र विभागीय भवनों में संचालित हो रहे हैं। वहीं 3003 आगनवाड़ी केन्द्र पूर्व से ही अन्य शासकीय भवनों में संचालित हैं। शेष आगनवाड़ी केन्दों को शीघ्र ही शासकीय अथवा विभागीय भवनों में संचालित किया जाएगा जिससे बालिकाओं के बौद्धिक और अनुपूरक पोषण में और अधिक वृद्धि हो सके।


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